क्या बैंकों का निजीकरण है विकास की यात्रा ?
किसी देश के आर्थिक विकास के लिए वहाँ के बैंकों का मजबूत होना आवश्यक है। हाल ही में सरकार द्वारा शीतकालीन सत्र में दो सरकारी बैंकों-इंडियन ओवरसीज बैंक और सेंट्रल बैंक ऑफ इंडिया के निजीकरण के संबंध में बिल पेश किए जाने की आशंका ने देश में एक नया सवाल खड़ा कर दिया है कि क्या बैंकों का निजीकरण किया जाना चाहिए ?